हरियाणा सरकार द्वारा रेप पर बनाये गए सजा ए मौत नए कानून का कांग्रेस ने स्वागत करते हुए कुछ संशोधनों के साथ देश भर में लागू करने की मांग की है। कांग्रेस ने स
रकार से इस कानून को और सख्त बनाने की मांग की है ताकि रेप के आरोपियों के बच निकलने के सभी रास्ते बंद हो और उन्हें मौत की सजा दी जा सके। इन्हीं सुझावों भरी मांगों को लेकर यूथ कांग्रेसियों ने प्रदेश सचिव अतुल महाजन की अगुवाई में कैंट के रेस्ट हाउस में पत्रकारों से बातचीत की।
कांग्रेसियों ने कहा कि हरियाणा सरकार ने रेप के मामले में जो नया कानून बनाया है कांग्रेस उसका स्वागत करती है। परन्तु इस कानून में अभी और सुधार सरकार को करने चाहिए। इस कानून को देश भर में लागू किए जाने की जरूरत है तभी ये सार्थक होगा। इस कानून के मुताबिक 12 साल से कम उम्र की बच्चियों के साथ रेप करने के दोषी व्यक्ति को मौत की सजा का प्रावधान है। कांग्रेस चाहती है कि रेप की पीड़ित हर महिला के दोषी के लिए सजा ए मौत मुकर्रर की जाए। जिस तरह आज बच्चियों, जवान लड़कियों, महिलाओं और बुजुर्ग महिलाओं के साथ भी रेप और गैंगरेप जैसी घटनाएं हो रही हैं उससे सख्त कानून के डंडे के साथ ही निपटा जा सकता है। अतुल ने कहा कि निर्भया कांड ने देश के हर व्यक्ति की आत्मा को झकझोर कर रख दिया था। इसलिए गैंगरेप के दोषियों के हर दोषी को मौत की सजा दिए जाने की कांग्रेस पार्टी मांग करती है। रेप करने वाले दरिन्दे जिस बर्बरता से मानवता के साथ साथ महिलाओं की आबरू को तार तार करते हैं उन्हें भी ठीक उसी ढर्रे पर सजा दी जानी चाहिए फिर भले ही वो किसी भी उम्र का हो। अतुल ने कहा कि कांग्रेस पार्टी इस मामले में जल्दी ही हरियाणा के महामहिम राज्यपाल को एक ज्ञापन देकर रेप के हर दोषी के लिए मौत की सजा का प्रावधान किए जाने की मांग करेगी। इस मांग को यूथ कांग्रेस पूरे प्रदेश में अभियान के तौर पर चलाएगी।
पत्रकारों के सवालों के जवाब देते हुए प्रदेश युवा सचिव अतुल महाजन ने कहा कि केवल कानून बना देने मात्र से कुछ नहीं होने वाला। व्यवस्था में बदलाव का जुनून सरकार को दिखाना होगा और समाज को इसे अपना प्राथमिक कर्तव्य समझना होगा। सरकार रेप के मामलों की सुनवाई और त्वरित न्याय के लिए फास्ट ट्रैक अदालतों का गठन करे। पुलिस व्यवस्था में सुधार किए जाएं क्योंकि अक्सर देखा गया है कि कानून के संरक्षक ही समाज और कानून की पेचीदगियों का हवाला देकर या तो मामलों को गोलमोल कर देते हैं या फिर शिकायत को कमजोर कर दिया जाता है। रेप के मामले की जांच में अन्य एजेंसियों को भी शामिल किया जाए। रेप की शिकायत और इसे उजागर करने वाली हर महिला और सम्बंधित परिवार को सरकार की ओर से पुलिस सुरक्षा मुहैया करवाई जानी चाहिए ताकि पीड़ित परिवार में आत्मविश्वास और सुरक्षा की भावना बनी रहे और उन्हें कोई भी आरोपी नुकसान न पहुंचा सके। बच्चियों को स्कूल कालेजों में पाठ्यक्रम में जागरूकता की बातें पढ़ाने की सरकार को व्यवस्था करनी चाहिए। समाज को भी इस गम्भीर मुद्दे पर एकजुट होकर आगे आना होगा। घर से ही शुरुआत होती है। परिजन अपने बच्चों को यदि नारियों के सम्मान की मौलिक शिक्षा घर पर ही बतानी शुरू कर देंगे तो समाज का ताना बाना मजबूत रहेगा। सोच को खुला और आजाद रखने की जरूरत है। तभी सही मायनों में बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ जैसे अभियान सार्थक होंगे।
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